6.11.24

आज की शायरी

किसी और कि बाहो मे रहकर

वोह हमसे वफा की बात करते है

ये कैसी चाहत है यारो,

वोह बेवफा है ये जानकर भी,

हम उन्ही से मोहब्बत करते है

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